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निवेशकों के लिए बाजार में अनुज सिंघल की ये रणनीति कराएगी मुनाफा, निफ्टी-बैंक निफ्टी पर ट्रेडर्स इन लेवल्स पर दें ध्यान

अनुज सिंघल ने कहा कि निवेशकों को घबराने की बिल्कुल जरूरत नहीं है। अच्छे शेयरों में सेल चल रही है। अपनी श्रद्धा के अनुसार खरीदें। वैसी भी नवरात्रि चल रही है, इससे बढ़िया टाइम क्या होगा। अगर नवरात्रि में आपको गाड़ी में 20% छूट मिले तो आप भागकर लेंगे। शेयरों में हम डिस्काउंट पर क्यों लेने से डरते हैं

MoneyControl Newsअपडेटेड Oct 07, 2024 पर 8:51 AM
निवेशकों के लिए बाजार में अनुज सिंघल की ये रणनीति कराएगी मुनाफा, निफ्टी-बैंक निफ्टी पर ट्रेडर्स इन लेवल्स पर दें ध्यान
निफ्टी में कोई भी पोजीशन लेने की जल्दी में नहीं रहें। पहले घंटे पर नजर रखें और फिर देखें क्या करना है। दोनों तरफ के ट्रेड आज काम कर सकते हैं।

बाजार के आगे के चाल पर बात करते हुए सीएनबीसी-आवाज के मैनेजिंग एडिटर अनुज सिंघल ने कहा कि हमास के इजराइल पर आतंकी हमले का आज एक साल पूरा हुआ है। पिछले एक साल में इक्विटीज ने सबसे बढ़िया रिटर्न दिए है। 1 साल में निफ्टी 28% चला है जबकि मिडकैप, स्मॉलकैप ने तो और शानदार रिटर्न दिए है। पिछले साल आज के ही दिन मैने कहा था- 'लपक लीजिए'। इस साल भी मैं कह रहा हूं- 'लपक लीजिए'। मौजूदा बुल मार्केट कुछ अलग है, इसमें कोई भी करेक्शन 10% से ज्यादा नहीं है । 2003-2007 के बुल मार्केट में हमने 30% तक की गिरावट देखी थी। निफ्टी 25,000 पर ट्रेड कर रहा है, 200 DMA 23,136 पर है। शिखर से निफ्टी सिर्फ 5% फिसला, इसे क्रैश नहीं कह सकते।

अनुज सिंघल ने आगे कहा कि बाजार में ज्यादा से ज्यादा गिरावट 2000 से 5000 अंकों की संभव है। तेजी में कहां तक जा सकता है बाजार 1 लाख, 2 लाख?वेल्थ बनानी है तो ये फेज इक्विटी में देखने पड़ेंगे। मौजूदा समय हमारे फॉर्मूले “DIP और SIP” के लिए बढ़िया है। जहां तक सवाल 27,272 का है, मेरा लक्ष्य अब भी कायम है। बैंकों और टाइटन के Q2 अपडेट साफ दिखाते हैं कि भारतीय इकोनॉमी काफी मजबूत है।

बाजार: क्यों गिर रहे हैं हम?

सबसे बड़ा कारण है FIIs की भारी बिकवाली और चीन का कनेक्शन। भारत से पैसा निकालकर चीन में डालने का शक सही साबित हुआ है। FIIs ने पिछले हफ्ते 40,500 करोड़ रुपये के शेयर बेचे जबकि DIIs ने 33,000 करोड़ रुपये की खरीदारी कर भरपाई की है। छोटी अवधि में, जब भी FIIs खरीदारी या बिकवाली करते हैं, बाजार मूव करता है। FIIs किसी भी भाव पर खरीदारी या बिकवाली करते हैं जब्कि DIIs अपने भाव पर खरीदारी या बिकवाली करते हैं।मीडियम और लंबी अवधि में DIIs ही हमेशा जीतते हैं। FIIs की बिकवाली ज्यादातर लार्जकैप शेयरों पर असर डालती है।

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