Turkey-Syria Earthquake updates: तुर्की और सीरिया (Turkey Syria Earthquake) में आए विनाशकारी भूकंप में जान गंवाने वाले लोगों की संख्या 34,000 के पार पहुंच गई है। वहीं, दोनों देशों में घायलों की संख्या अब बढ़कर एक लाख के करीब पहुंच गई है। रिपोर्ट के मुताबिक अब तक मलबे से 34 हजार शव निकाले जा चुके हैं। तुर्की और सीरिया ने पिछले हफ्ते 7.8 की तीव्रता वाला शक्तिशाली झटका झेला है। इसके बाद से मृतकों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। वहीं, इस हादसे कई दिनों के बाद अभी भी मलबे से लोगों के जिंदा निकलने का क्रम जारी है। तुर्की और सीरिया में पिछले सप्ताह सोमवार को कुछ घंटों के भीतर आए कई शक्तिशाली भूकंपों ने काफी तबाही मचाई है।
रविवार को बचाव टीम ने आपदा के 149 घंटे बाद मलबे से एक और व्यक्ति को जीवित बाहर निकाला है। मलबे के नीचे दबे लोगों को बचाने के लिए बचावकर्मी कड़ाके की ठंड में लगातार मशक्कत कर रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक रविवार को मृतकों की संख्या 34,105 हो गई। तुर्की इमरजेंसी कोऑर्डिनेशन सेंटर (SAKOM) ने बताया कि तुर्की में भूकंप में अब तक 29,605 लोगों की मौत हो गई है। वहीं, सीरिया में भूकंप के चलते 4,574 लोगों की मौत हो गई है।
सीरिया के स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, सीरिया के उत्तरपूर्वी इलाके में 3,160 लोगों ने जान गंवाई है। स्टेट न्यूज एजेंसी के मुताबिक, सरकार नियंत्रण क्षेत्र में 1,414 लोगों की मौत हुई है। वहीं विश्व स्वास्थ्य संगठन यानी WHO के डायरेक्टर बहुत जल्द ही सीरिया के बागी इलाकों का दौरा भी कर सकते हैं। भूकंप के करीब 149 घंटे बाद तुर्की के दक्षिणपूर्वी प्रांत हैटे में एक रोमानियाई बचाव दल ने मुस्तफा नाम के एक 35 साल के व्यक्ति को एक इमारत से मलबे के ढेर से जिंदा बाहर निकाला है।
बचाव दल में शामिल एक अधिकारी ने कहा कि उसका स्वास्थ्य अच्छा है, वह बात कर रहा है। वह कह रहे थे कि मुझे जल्दी से यहां से निकालो, मुझे क्लॉस्ट्रोफोबिया हो गया है। टीम ने उसे तुरंत अस्पताल में भर्ती करा दिया है। तुर्की के टीवी स्टेशन ‘एनटीवी’ ने बताया कि हाते प्रांत के इस्केंदेरुन में 138 घंटे से मलबे में फंसे 44 वर्षीय एक व्यक्ति को बाहर निकाला गया।
तुर्की के राष्ट्रपति तैयप एर्दोगन ने कहा कि तुर्कीवासी साल 1939 के बाद सबसे भयंकर भूकंप से विनाश का सामना कर रहे हैं। राष्ट्रपति एर्दोगन ने हफ्तों के भीतर ही पुनर्निर्माण शुरू करने का वादा किया है। उन्होंने कहा कि सैकड़ों हजारों इमारतें बर्बाद हो गई हैं, लेकिन जल्द से जल्द हम इससे निजात पाएंगे।
बता दें कि तुर्की और सीरिया के अलावा भूकंप के झटके लेबनान, इजरायल और साइप्रस में भी महसूस किए गए थे। इस बीच, निर्यातकों ने यह आशंका जताई है कि भारत से कपास, मानव-निर्मित धागे और कपड़ों की डाई जैसी वस्तुओं का तुर्की को होने वाले निर्यात पर भूकंप के कारण कुछ समय के लिए असर पड़ सकता है।