भारत में चांदी (Silver) का इस्तेमाल सिर्फ आभूषण या बर्तन तक सीमित नहीं है, बल्कि यह हमारी परंपरा, त्योहारों और खुशियों का भी अहम हिस्सा रही है। शादी-ब्याह से लेकर तीज-त्योहार तक, चांदी की थाली, गिलास या गहने घर की रौनक बढ़ा देते हैं। लेकिन आजकल बाजार में चांदी की आड़ में नकली या मिलावटी सामान भी बेचा जा रहा है, जिससे खरीदार ठगे जा सकते हैं। ऐसे में जरूरी है कि आप असली और मिलावटी चांदी में फर्क करना सीखें ताकि आपके पैसों की कीमत सही चीज पर ही लगे। अक्सर लोग सोने की शुद्धता तो चेक कर लेते हैं लेकिन चांदी को बिना जांचे खरीद लेते हैं और बाद में पछताते हैं।
इसीलिए अब वक्त है सतर्क रहने का! अगर आप भी शुद्ध चांदी खरीदना चाहते हैं तो पहले इसके आसान पहचान तरीकों को जरूर जान लें ताकि अगली बार बाजार जाएं तो कोई आपको चूना न लगा सके।
शुद्ध चांदी होती क्या है?
100% चांदी बहुत नर्म होती है, इसलिए रोजमर्रा के इस्तेमाल के लिए इसमें दूसरी धातुएं मिलाई जाती हैं ताकि ये मजबूत बनी रहे। आमतौर पर 92.5% शुद्धता वाली चांदी को स्टर्लिंग सिल्वर कहा जाता है, जिसमें 7.5% कॉपर या अन्य धातु मिली होती है।
हॉलमार्क देखना है सबसे जरूरी
भारत में भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) चांदी की शुद्धता तय करता है और हॉलमार्किंग करता है। असली चांदी पर आपको ये बातें जरूर दिखेंगी:
शुद्धता की संख्या (जैसे 925 मतलब 92.5% प्योर)
जांच केंद्र और निर्माता का कोड
अगर चांदी पर ये सब सही लिखा है तो समझिए कि आप ठगे नहीं जाएंगे।
घर बैठे ऐसे जांचें चांदी की शुद्धता
अगर आपके पास हॉलमार्क नहीं है तो घबराने की बात नहीं। कुछ घरेलू ट्रिक्स से भी आप असली चांदी को पकड़ सकते हैं:
चुम्बक ट्रिक: असली चांदी कभी मैग्नेट से चिपकती नहीं। अगर चिपक जाए तो मिलावटी है।
बर्फ का टेस्ट: चांदी जबरदस्त कंडक्टर होती है। उस पर बर्फ रखें — फौरन पिघलनी शुरू हो तो समझिए माल असली है।
आवाज से पहचान: चांदी को हल्के से ठोकने पर मखमली, घंटी जैसी आवाज आती है।
अगर घर के जुगाड़ से संतुष्ट नहीं हैं तो ज्वैलर के पास जाकर एसिड टेस्ट या इलेक्ट्रॉनिक टेस्टिंग मशीन से चेक करवा सकते हैं। एसिड टेस्ट में खास रसायन डालने से रंग बदल जाता है जो शुद्धता बताता है। मशीन टेस्ट सबसे भरोसेमंद तरीका माना जाता है।
चांदी खरीदते समय ध्यान रखें ये बातें
हमेशा BIS हॉलमार्क वाली चांदी ही खरीदें।
अनजाने सोर्स से चांदी न लें।
शक हो तो एक्सपर्ट से जांच कराएं।