इंडसइंड बैंक के टॉप अफसरों को डेरिवेटिव अकाउंटिंग में लैप्सेज की जानकारी पहले से थी। इस मामले के खुलासे के करीब 18 महीने पहले ही उन्हें इस बारे में पता चल गया था। सेबी के अंतरिम आदेश में यह बात कही गई है। मार्केट रेगुलेटर ने इंडसइंड बैंक घोटाला मामले में 27 मई को अंतरिम आदेश जारी किया। सेबी को जांच में ऐसी कई जानकारियां मिली हैं, जिनके बारे में पहले बताया नहीं गया था। सेबी ने अब बड़ा एक्शन लिया है। उसने इंडसइंड बैंक के पूर्व एमडी और सीईओ सुमंत कठपालिया सहित बैंक के 5 बड़े अफसरों के स्टॉक मार्केट्स में किसी तरह के टांजेक्शंस पर रोक लगा दी है।