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Market mayhem: 28 फरवरी को बाजार में आई भारी बिकवाली के बीच 900 से ज्यादा शेयर 52 हफ्तों के निचले स्तर पर

Market correction : ग्लोबल स्तर पर व्यापक ट्रेड वॉर की बढ़ती आशंकाओं और अमेरिकी अर्थव्यवस्था में मंदी की चिंताओं के बीच आई भारी बिकवाली के कारण सेंसेक्स और निफ्टी में लगभग 2 फीसदी की गिरावट आई

MoneyControl Newsअपडेटेड Mar 01, 2025 पर 11:19 AM
Market mayhem: 28 फरवरी को बाजार में आई भारी बिकवाली के बीच 900 से ज्यादा शेयर 52 हफ्तों के निचले स्तर पर
छोटे और मझोले आकार के शेयर आमतौर पर बाजार में गिरावट के दौरान सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं। इस साल भी ये बुरी तरह प्रभावित हुए हैं। इनमें 14 प्रतिशत और 19.2 प्रतिशत की गिरावट आई है

28 फरवरी को 908 शेयर 52-हफ्ते के निचले स्तर पर पहुंच गए। बाजार में लगातार बिकवाली जारी रही। इस बिकवाली के चलते मार्केट कैप में 8.8 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। गिरने वाले निफ्टी के दिग्गजों में टाटा मोटर्स सबसे आगे रहा। ये 4 फीसदी गिरकर 623 रुपये पर आ गया। जबकि अन्य शेयरों में एसीसी,आरती ड्रग्स, आरती इंडस्ट्रीज, 5 पैसा, उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक, एबीबी इंडिया, 3एम इंडिया और टिमकेन में भी भारी गिरावट हुई।

ग्लोबल ट्रेड वॉर की बढ़ती आशंकाओं और अमेरिकी अर्थव्यवस्था में मंदी की चिंताओं के बीच आई भारी बिकवाली के कारण सेंसेक्स और निफ्टी में करीब 2 प्रतिशत की गिरावट आई। सभी 13 प्रमुख सेक्टोरल इंडेक्स लाल निशान में बंद हुए। बीएसई स्मॉलकैप और बीएसई मिडकैप इंडेक्स भी 2.5 प्रतिशत और 3 प्रतिशत की कमजोरी लेकर बंद हुए।

आईटी शेयरों को सबसे ज़्यादा झटका लगा,अमेरिका में कमज़ोर जॉबलेस क्लेम आंकड़ों के बाद मंदी की आशंकाओं के चलते इस सेक्टोरल इंडेक्स में 4 फीसदी से ज़्यादा की गिरावट आई। इसपूरे हफ़्ते बिकवाली का सिलसिला बढ़ता रहा जिससे आईटी इंडेक्स में करीब 8 प्रतिशत की गिरावट आई जो कि निफ्टी 50 की 2 प्रतिशत की गिरावट से कहीं ज़्यादा है।

बैंकिंग शेयर भी संघर्ष करते दिखे। निफ्टी बैंक इंडेक्स में 0.8 प्रतिशत की गिरावट आई, जबकि इसके 12 में से 11 घटक लाल निशान पर बंद हुए। अन्य सेक्टर भी इससे अछूते नहीं रहे, निफ्टी ऑटो, एफएमसीजी, पीएसयू बैंक, हेल्थकेयर, ऑयल एंड गैस और मीडिया इंडेक्स में 2-4 प्रतिशत की गिरावट आई।

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