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SBI Share Price: ज्यादा सैलरी देने से प्रॉफिट घटेगा लेकिन लॉन्ग टर्म में तगड़ा रिटर्न देगा शेयर

सैलरी बढ़ाने के लिए किए गए प्रोविजन की वजह से मुनाफा थोड़ा कम रहा। क्रेडिट कॉस्ट घटने और लोन लॉस के लिए कम प्रोविजनिंग से थोड़ी मदद मिली। सभी मानकों पर एसेट क्वालिटी बेहतर हुई है। सैलरी के लिए ज्यादा प्रोविजन करने के बावजूद इस वित्त वर्ष की सितंबर तिमाही में बैंक का रिटर्न ऑन एसेट (ROA) 1.01 फीसदी रहा

MoneyControl Newsअपडेटेड Nov 06, 2023 पर 2:29 PM
SBI Share Price: ज्यादा सैलरी देने से प्रॉफिट घटेगा लेकिन लॉन्ग टर्म में तगड़ा रिटर्न देगा शेयर
बैंक के रिस्ट्रक्चर्ड लोन में भी कमी आई है। जून तिमाही में यह 22,666 करोड़ रुपये था, जो सितंबर तिमाही में घटकर 20,854 करोड़ रुपये रहा। यह सितंबर तिमाही के अंत में बैंक की लोनबुक का सिर्फ 0.6 फीसदी है।

SBI के दूसरी तिमाही के नतीजे अच्छे हैं। साल दर साल आधार पर बैंक का मुनाफा 8 फीसदी बढ़कर 14,430 करोड़ रुपये रहा। इस दौरान लोन ग्रोथ अच्छी रही। लेकिन, मार्जिन में थोड़ी कमी आई। सैलरी बढ़ाने के लिए किए गए प्रोविजन की वजह से मुनाफा थोड़ा कम रहा। हालांक, क्रेडिट कॉस्ट घटने और लोन लॉस के लिए कम प्रोविजनिंग से थोड़ी मदद मिली। सभी मानकों पर एसेट क्वालिटी बेहतर हुई है। सैलरी के लिए ज्यादा प्रोविजन करने के बावजूद इस वित्त वर्ष की सितंबर तिमाही में बैंक का रिटर्न ऑन एसेट (ROA) 1.01 फीसदी रहा। अच्छे रिटर्न रेशियो और फेवरेबल एसेट क्वालिटी साइकिल के बावजूद SBI के स्टॉक्स की वैल्यूएशन कम दिखती है। इसकी बड़ी वजह इसकी गवर्नमेंट ओनरशिप हो सकती है। अब भी इस बैंक में सबसे बड़ी हिस्सेदारी सरकार की है। कम वैल्यूएशन को देखते हुए SBI का स्टॉक लंबी अवधि के लिहाज से अट्रैक्टिव दिखता है। यह देश का सबसे बड़ा बैंक भी है।

क्रेडिट में दूसरी तिमाही में अच्छी ग्रोथ

सितंबर तिमाही में एसबीआई का एडवॉन्स साल दर साल आधार पर 12 फीसदी बढ़ा। इसमें रिटेल और SMI लोन ग्रोथ की बड़ी हिस्सेदारी रही। बैंक की कुल लोन बुक में दोनों सेगमेंट की हिस्सेदारी 43 फीसदी है। साल दर साल आधार पर इसमें 16 फीसदी वृद्धि देखने को मिली है। साल दर साल आधार पर होम लोन की ग्रोथ 13 फीसदी रही। साल दर साल आधार पर Xpress Credit की ग्रोथ 18 फीसदी रही। एक्सप्रेस क्रेडिट बुक अब 3,20,000 रुपये हो गई है। लेकिन, यह अपेक्षाकृत सुरक्षित है, क्योंकि बैंक करीब 83 फीसदी लोन सरकारी एंप्लॉयीज को दिए हैं।

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