राजस्थान के सिकराय इलाके में खेती की नई कहानी लिखी जा रही है। यहां के किसान गिर्राज प्रसाद मीणा ने अपने नींबू के बगीचे को बचाने के लिए एक ऐसा देसी तरीका अपनाया, जिसने सभी को चौंका दिया। उन्होंने रासायनिक दवाओं और महंगे कीटनाशकों का सहारा लेने के बजाय गोमूत्र से फसलों की रक्षा करने का रास्ता चुना। इस प्रयोग ने न केवल उनके खेत की सेहत सुधारी बल्कि मिट्टी को भी दोबारा उपजाऊ बना दिया। अब उनके नींबू के पेड़ पहले से ज्यादा हरे-भरे और फलदार हो गए हैं।
