टाटा ट्रस्ट्स की 11 सितंबर, 2025 को हुई मीटिंग सिर्फ एक सालाना रिव्यू थी। यह टाटा फिलैंथ्रोपिक ग्रुप के अंदर तख्तापलट या टेकओवर की कोशिश नहीं थी। सीनियर एडवोकेट डेरियस जे खंबाटा ने सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट और सर रतन टाटा ट्रस्ट के खास ट्रस्टियों को एक कॉन्फिडेंशियल लेटर लिखा है। इस लेटर में ही ऐसा जिक्र किया गया है। खंबाटा महाराष्ट्र के पूर्व एडवोकेट जनरल और भारत के पूर्व एडिशनल सॉलिसिटर जनरल हैं। वह अभी दोराबजी टाटा ट्रस्ट और सर रतन टाटा ट्रस्ट के बोर्ड में हैं।
