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Mamaearth IPO : क्या इनवेस्टर्स की उम्मीदे पूरी करने में सफल रहेगी कंपनी?

करीब सात साल पहले मामाअर्थ ने बिजनेस शुरू किया था। इसने बेबीज के लिए टोक्सिन-फ्री प्रोडक्ट्स से शुरुआत की थी। आज इसके ब्रांड्स की संख्या बढ़कर छह हो गई है। लेकिन, ब्रांड्स के लिए लोगों का भरोसा जीतना आसान नहीं होता। कंपनी के कुछ ब्रांड्स के लिए रास्ता आसान नहीं रहा है। इसके अनियन हेयर ग्रोथ ऑयल का सोशल मीडिया पर खूब मजाक उड़ा

MoneyControl Newsअपडेटेड Nov 01, 2023 पर 5:33 PM
Mamaearth IPO : क्या इनवेस्टर्स की उम्मीदे पूरी करने में सफल रहेगी कंपनी?
कंपनी ने नए कस्टमर्स के बीच पैठ बनाने के लिए एडवर्टाइजिंग पर खर्च बढ़ाया है। यह अपनी कुल सेल्स का 30-40 फीसदी ऐड पर खर्च करती है। यह ट्रेडिशनल कंज्यूमर कंपनियों से काफी ज्यादा है।

Honasa Consumer के IPO का इंतजार काफी समय से हो रहा था। इस कंपनी ने ब्यूटी एंड पर्सनल केयर (BPC) सेगमेंट में अपने ब्रांड्स खुद बनाए हैं। यह डिजिटल प्लेटफॉर्म के जरिए अपने प्रोडक्ट्स बेचती है। इस कंपनी को लेकर मार्केट में जिस तरह की चर्चा चल रही है, उससे दूसरी D2C कंपनियां सीख सकती हैं। सबसे अहम यह कि पहले ग्राहकों का भरोसा जीतो, उसके बाद पूंजी उठाने के लिए इनवेस्टर्स के पास जाओ। करीब सात साल पहले मामाअर्थ ने बिजनेस शुरू किया था। इसने बेबीज के लिए टोक्सिन-फ्री प्रोडक्ट्स से शुरुआत की थी। आज इसके ब्रांड्स की संख्या बढ़कर छह हो गई है। लेकिन, ब्रांड्स के लिए लोगों का भरोसा जीतना आसान नहीं होता। कंपनी के कुछ ब्रांड्स के लिए रास्ता आसान नहीं रहा है। इसके अनियन हेयर ग्रोथ ऑयल का सोशल मीडिया पर खूब मजाक उड़ा। वजह यह है कि ग्राहकों का इसका कुछ भी असर नहीं दिखा।

कंपनी ने नए कस्टमर्स के बीच पैठ बनाने के लिए एडवर्टाइजिंग पर खर्च बढ़ाया है। यह अपनी कुल सेल्स का 30-40 फीसदी ऐड पर खर्च करती है। यह ट्रेडिशनल कंज्यूमर कंपनियों से काफी ज्यादा है। इसके बावजूद कंपनी को अपना ऐड स्पेंड पर्याप्त नहीं लग रहा है। इसने आईपीओ से हासिल पैसे में से 182 करोड़ रुपये ऐड पर खर्च करेगी और अपने ब्रांड्स को लेकर विजिबिलिटी बढ़ाने की कोशिश करेगी। सेबी रजिस्टर्ड इनवेस्टमेंट एडवाइजर संदीप सभरवाल ने कहा कि कंपनी ऐड पर जो खर्च कर रही है, वह असल में रेवेन्यू एक्सपेंडिचर है, जिसे लंबे समय तक जारी नहीं रखा जा सकता।

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सभरवाल ने कहा कि बड़ी कंज्यूमर कंपनियां आम तौर पर ऐड पर 11-12 फीसदी से ज्यादा पैसे खर्च नहीं करती हैं। यहां तक कि पिछले कुछ सालों में स्टार्टअप्स कंपनियों का ऐड स्पेंड भी घटकर 15-17 फीसदी पर आ गया है। न्यू-एज टेक कंपनियों में खुलकर पैसे लगाने वाले अमित जेसवानी मामाअर्थ को लेकर बहुत उत्साहित नहीं हैं। उनका कहना है कि इस स्पेस में बहुत ज्यादा प्रतियोगिता है। Redseer के मुताबिक, बीपीसी मार्केट में एक्सपैंसन होने जा रहा है। 2027 तक यह 30 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा। इसकी वजह यह है कि अब ज्यादा कंज्यूमर क्वालिटी प्रोडक्ट्स चाहते हैं। ब्यूटी और सेल्फ-केयर पर लोगों का फोकस बढ़ा है। ऐसे में होनासा को इस स्पेस की दूसरी कंपनियों का मुकाबला करना होगा।

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