केंद्रीय बजट 2025 में मुख्य रूप से इनकम टैक्स में राहत के माध्यम से कंजंप्शन सेगमेंट पर फोकस किया गया। सरकार ने ऐलान किया कि अब नई आयकर व्यवस्था के तहत 12 लाख रुपये तक की टैक्सेबल सालाना आय टैक्स फ्री हो जाएगी। वित्त वर्ष 2025 के लिए वित्तीय घाटे का टारगेट GDP का 4.8 प्रतिशत और वित्त वर्ष 2026 के लिए 4.4 प्रतिशत रखा गया। साथ ही वित्त वर्ष 2025 के संशोधित अनुमानों (10.18 लाख करोड़ रुपये) की तुलना में वित्त वर्ष 2026 के लिए कैपेक्स के लिए अपेक्षा से बेहतर एलोकेशन 11.21 लाख करोड़ रुपये किया गया। इसका असर एफएमसीजी, कंज्यूमर ड्यूरेबल्स, रियल एस्टेट और ऑटो शेयरों में साफ तौर पर देखा गया। इनमें 2-3 प्रतिशत की बढ़त दर्ज की गई।