Get App

Diwali Pics: इस दिवाली कौन सा शेयर खरीदें? HDFC Securities ने बताए 10 नाम, 100% तक रिटर्न मिलने के चांस

Diwali Stocks: दिवाली में अब बस कुछ ही दिन बचे हैं। इस शुभपर्व पर शेयर बाजार में एक घंटे का स्पेशल मूहुर्त ट्रेडिंग आयोजित किया जाता है। अगर आप भी यह सोच रहे हैं कि इस दिवाली कौन-कौन सा शेयर खरीदें, तो ब्रोकरेज फर्म HDFC सिक्योरिटीज की यह रिपोर्ट आपके काम आ सकती है। ब्रोकरेज ने 10 शेयरों के नाम बताएं, जो अगली दिवाली तक निवेशकों को दमदार मुनाफा दिला सकते हैं

Moneycontrol Newsअपडेटेड Oct 22, 2024 पर 2:10 PM
Diwali Pics: इस दिवाली कौन सा शेयर खरीदें? HDFC Securities ने बताए 10 नाम, 100% तक रिटर्न मिलने के चांस
Diwali Stocks: HDFC सिक्योरिटीज ने रिलायंस इंडस्ट्रीज को 3,243 रुपये का टारगेट प्राइस दिया है

Diwali Stocks: दिवाली में अब बस कुछ ही दिन बचे हैं। इस शुभपर्व पर शेयर बाजार में एक घंटे का स्पेशल मूहुर्त ट्रेडिंग आयोजित किया जाता है। अगर आप भी यह सोच रहे हैं कि इस दिवाली कौन-कौन सा शेयर खरीदें, तो ब्रोकरेज फर्म HDFC सिक्योरिटीज की यह रिपोर्ट आपके काम आ सकती है। ब्रोकरेज ने 10 शेयरों के नाम बताएं, जो अगले एक साल यानी अगली दिवाली तक निवेशकों को दमदार मुनाफा दिला सकते हैं। इनमें रिलायंस इंडस्ट्रीज, SBI और ज्योति लैब्स जैसे स्टॉक शामिल हैं।

1. रिलायंस इंडस्ट्रीज (Reliance Industries)

HDFC सिक्योरिटीज ने इस शेयर 2,447 से 2,716 रुपये की सीमा में खरीदने की सलाह दी है और अगली दिवाली तक के लिए इसे 3,243 रुपये का टारगेट प्राइस दिया है। ब्रोकरेज को उम्मीद है कि वित्त वर्ष 2025 के अंत तक जियो का प्रति यूजर्स औसत रेवेन्यू (ARPU) बढ़कर 205 रुपये प्रति माह हो जाएगा। ब्रोकरेज के मुताबिक, अगले दो-तीन सालों में रिटेल, टेलीकॉम और न्यू एनर्जी कंपनी के ग्रोथ के नए इंजन बनेंगे। कंपनी का लक्ष्य अगले 5 सालों में अपने EBITDA को दोगुना करना है और इसके लिए यह 5G से जुड़े अवसरों को भुनाना चाहती है। हालांकि इसके साथ इकोनॉमी में सुस्ती, अनुमान से कम उत्पादन और प्राकृतिक गैस की कीमतों में गिरावट जैसे कुछ अहम रिस्क-फैक्टर पर भी नजर रखना चाहिए।

2. स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI)

ब्रोकरेज ने SBI को 733 से 813 रुपये के बीच खरीदने की सलाह दी है और अगले दीवाली तक के लिए इसे 960 रुपये का टारगेट प्राइस दिया है। ब्रोकरेज का कहना है कि लिक्विडिटी सरपल्स और एक आरामदायक LDR के कारण SBI अपनी ग्रोथ को बनाए रखने में सक्षम है। हालांकि दूसरी छमाही के दौरान ब्याज दरों में कटौती का सिलसिला शुरू होने से वित्त वर्ष 2024 से 2026 के दौरान इसकी NIM ग्रोथ में थोड़ी कमी आ सकती है। ब्रोकरेज ने कहा कि एसेट्स क्वालिटी में अचानक से अधिक गिरावट, रेगुलेशन में बदलाव, लोन ग्रोथ में सुस्ती जैसे कुछ रिस्क-फैक्टर पर भी नजर रखनी चाहिए।

सब समाचार

+ और भी पढ़ें