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क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करते हैं तो टैक्स के नियमों को जान लीजिए, नहीं तो इनकम टैक्स डिपार्टमेंट लगा सकता है पेनाल्टी

सरकार ने यूनियन बजट 2022 में डिजटल एसेट्स पर टैक्स के नियमों का ऐलान किया था। इसके लिए क्रिप्टो एसेट्स को वर्चुअल डिजिटल एसेट्स माना गया था। इसका मतलब है कि अगर कोई टैक्सपेयर Crypto या NFT जैसे वर्चुअल डिजिटल एसेट्स का ट्रांसफर करता है तो उससे होने वाले इनकम पर उसे फ्लैट 30 फीसदी रेट से टैक्स चुकाना होगा

MoneyControl Newsअपडेटेड Jun 25, 2025 पर 4:24 PM
क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करते हैं तो टैक्स के नियमों को जान लीजिए, नहीं तो इनकम टैक्स डिपार्टमेंट लगा सकता है पेनाल्टी
अगर आपको क्रिप्टोकरेंसी से इनकम हुई है तो आप इनकम टैक्स के आईटीआर फॉर्म 1 का इस्तेमाल नहीं कर सकते।

इंडिया में क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने में सबसे ज्यादा दिलचस्पी युवाओं की रही है। कुछ युवाओं को तो शेयरों से ज्यादा मुनाफा क्रिप्टोकरेंसी में दिख रहा है। वे शेयरों से पैसे निकालकर डिजिटल एसेट्स में लगा रहे हैं। उन्हें भरोसा है कि इससे उन्हें ज्यादा मुनाफा मिलेगा। अगर आप भी क्रिप्टोकरेंसी की खरीदफरोख्त करते हैं तो इसके मुनाफे पर टैक्स के नियमों को जान लेना जरूरी है।

ITR में क्रिप्टो से हुए मुनाफे के बारे में बताना होगा

अगर आपने फाइनेंशियल ईयर 2024-25 में क्रिप्टो में निवेश से मुनाफा कमाया है तो आपको इस बारे में इनकन टैक्स रिटर्न में बताना होगा। अगर कोई टैक्सपेयर डिजिटल एसेट्स की सेल या प्रॉफिट के बारे में अपने इनकम टैक्स रिटर्न में नहीं बताता है तो उसे इनकम टैक्स डिपार्टमेंट का नोटिस मिल सकता है। डिपार्टमेंट उस पर पेनाल्टी लगाने के साथ ही उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू कर सकता है।

2022 के यूनियन बजट में टैक्स के नियमों का ऐलान

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