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Digital Arrest: पीएम मोदी की अपील के बाद ऑनलाइन ठगी मामले में एक्शन शुरू, 'डिजिटल अरेस्ट' को लेकर नई एडवाइजरी जारी

Digital Arrest Scams: 'डिजिटल अरेस्ट' घोटालेबाजों ने अपराध की आय को क्रिप्टोकरेंसी में परिवर्तित किया गया और फिर विदेश में ट्रांसफर कर दिया गया। यह मामला देश भर के पीड़ितों से 159 करोड़ रुपये की ठगी करने के लिए किए गए विभिन्न 'डिजिटल अरेस्ट' घोटालों से जुड़ा है

MoneyControl Newsअपडेटेड Nov 03, 2024 पर 8:13 PM
Digital Arrest: पीएम मोदी की अपील के बाद ऑनलाइन ठगी मामले में एक्शन शुरू, 'डिजिटल अरेस्ट' को लेकर नई एडवाइजरी जारी
Digital Arrest Scams: प्रवर्तन निदेशालय ने आठ सदस्यीय गैंग के काम करने के तरीके का खुलासा किया है

Digital Arrest Scams: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने साइबर क्राइम के एक मामले में नई अभियोजन शिकायत दर्ज की है, जिसे अक्सर डिजिटल अरेस्ट के रूप में जाना जाता है। एजेंसी की यह कार्रवाई प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अपने मासिक 'मन की बात' रेडियो संबोधन में नागरिकों को ऐसे घोटालों के बारे में चेतावनी देने के एक सप्ताह बाद हुई है। एजेंसी ने कई पुलिस FIR का अध्ययन करने के बाद मामला दर्ज किया है। यह मामला देश भर के पीड़ितों से 159 करोड़ रुपये की ठगी करने के लिए किए गए विभिन्न 'डिजिटल अरेस्ट' घोटालों से जुड़ा है।

जांच एजेंसियों ने कहा कि वे साइबर क्राइम की इस कैटेगरी के खिलाफ कार्रवाई कर रहे हैं जिसके तहत जहां प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने ऐसे ही एक मामले में चार्जशीट दाखिल किया। वहीं इंडियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर ने नया एडवाइजरी जारी किया है।

फर्जी IPO आवंटन से जुड़ा है मामला

प्रवर्तन निदेशालय ने शनिवार (2 नवंबर) को एक बयान जारी कर कहा कि उसने पिछले माह बेंगलुरु में एक PMLA अदालत के समक्ष आठ आरोपियों के खिलाफ अभियोजन शिकायत दर्ज की। इन्होंने कथित तौर पर धोखेबाजी वाले ऐप के माध्यम से फर्जी IPO (Initial Public Offer) आवंटन और शेयर बाजार में निवेश के माध्यम से आम लोगों को लुभाया था।

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