आज डिजिटल ट्रांजैक्शन और महंगाई के जमाने में ₹1 का सिक्का भले ही मामूली लगे, लेकिन बहुतों के लिए इसकी भावनात्मक अहमियत है। यह सिक्का 1992 से चलन में है। एक RTI के मुताबिक, इसे बनाने में ₹1 से ज्यादा खर्च होता है। 2018 में सामने आई जानकारी के अनुसार, एक ₹1 का सिक्का बनाने की लागत ₹1.11 थी, यानी इसके फेस वैल्यू से अधिक।