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Shardiya Navratri 2025: नवरात्रि में कन्या पूजन का क्या है आध्यात्मिक महत्व? जानें कहां से शुरू हुई ये परंपरा

Shardiya Navratri 2025 में कन्या पूजन का विशेष महत्त्व है, जिसमें नौ कन्याओं और एक छोटे बालक की पूजा की जाती है, जो मां दुर्गा के नौ स्वरूपों का प्रतीक हैं।

Edited By: Shradha Tulsyanअपडेटेड Sep 23, 2025 पर 10:24 PM
Shardiya Navratri 2025: नवरात्रि में कन्या पूजन का क्या है आध्यात्मिक महत्व? जानें कहां से शुरू हुई ये परंपरा

शारदीय नवरात्रि हर साल मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा का पवित्र पर्व होता है। इस नवरात्रि में खासकर अष्टमी या नवमी के दिन नौ कन्याओं के साथ एक छोटे बालक की पूजा की जाती है, जिन्हें देवी दुर्गा के नौ रूपों का प्रतिनिधि माना जाता है। इस पूजा से जीवन में सुख, समृद्धि और शांति आती है।

कन्या पूजन का आध्यात्मिक अर्थ

कन्याओं की पूजा केवल सांस्कृतिक परंपरा नहीं बल्कि हमारे अंदर छुपी सहजता, भोलेपन और दिव्यता को जीवन में उतारने का संदेश देती है। यह हमें सिखाती है कि हर व्यक्ति और हर जीव के अंदर विशेष गुण और सकारात्मक शक्तियां होती हैं, जिनसे हमें प्रेरणा लेनी चाहिए।

अंदर की दैवी शक्ति जागृत करना क्यों जरूरी है

हमारे अंदर नकारात्मकता, गलत आदतें और कमजोरियां भी होती हैं, जिन्हें हमें पहचानना और दूर करना होता है। नवरात्रि का पर्व हमें इन नकारात्मक शक्तियों से लड़ने और अपनी अंदरूनी दैवी शक्तियों को जगाने का अवसर प्रदान करता है। जैसे ही हम अपनी दैवी शक्तियों को पहचानते हैं, जीवन में विकास और सकारात्मक बदलाव आता है।

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