सनातन परंपरा में दीपों के पंचमहापर्व दिवाली का बहुत ज्यादा धार्मिक महत्व है। जिसकी शुरुआत कार्तिक मास के कृष्णपक्ष की त्रयोदशी के दिन होती है। यह पर्व शुभ-लाभ के देवता भगवान श्री गणेश, धन की देवी मां लक्ष्मी और धन के देवता कुबेर के साथ आरोग्य का वरदान प्रदान करने वाले भगवान धन्वंतरी की पूजा का बहुत ज्यादा महत्व है। मान्यता है कि इसी दिन समुद्र मंथन के दौरान भगवान धन्वंतरी का अमृत कलश के साथ प्राकट्य हुआ था। धन्वंतरी देव देवताओं के वैद्य हैं। धन्वंतरी देव को औषधि का देवता भी कहा गया है। हर साल कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस का त्योहार मनाया जाता है।