सरकार फॉरेन पोर्टफोलियो इनवेस्टर्स (एफपीआई) के लिए नियमों में बदलाव कर सकती है। शेयरों में उनका निवेश 10 फीसदी तक पहुंचने के बाद उन्हें प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआ) के रास्त निवेश की इजाजत दी जा सकती है। डिपार्टमेंट ऑफ इकोनॉमिक अफेयर्स के सेक्रेटरी अजय सेठ ने इस बारे में बताया। उन्होंने कहा कि अभी के नियम के हिसाब से फॉरेन पोर्टफोलियो इनवेस्टमेंट 10 फीसदी से कम होना चाहिए। इस वजह से जैसे ही किसी एफपीआई का निवेश 10 फीसदी तक पहुंचता है उसे मार्केट में अपने शेयर बेचने पड़ते हैं।