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वित्त वर्ष 2024 में आईपीओ के जरिए 50000 करोड़ रुपये जुटाए जाने की उम्मीद, आम चुनाव के पहले बाजार रहेगा वोलेटाइल

अजय गर्ग का कहना है कि सेबी सही प्राइसिंग को समझने के लिए बैंकरों के साथ बातचीत कर रही है। अगर आईपीओ लाने वाली कंपनी गलत जानकारी देकर लोगों को गुमराह करती है तो उसको दंडित किया जाएगा। लेकिन अंतत: यह एक खुला बाजार है। यहां बहुत कुछ बाजार परिस्थितियों पर निर्भर करता है

Edited By: Sudhanshu Dubeyअपडेटेड Jun 04, 2023 पर 3:10 PM
वित्त वर्ष 2024 में आईपीओ के जरिए 50000 करोड़ रुपये जुटाए जाने की उम्मीद, आम चुनाव के पहले बाजार रहेगा वोलेटाइल
खुदरा निवेशक अब अधिक सतर्क हो गए हैं। अप्रैल में आए मैनकाइंड फार्मा और एवलॉन टेक्नोलॉजीज के आईपीओ के रिटेल हिस्से पूरी तरह से नहीं भरे थे। विश्लेषकों के मुताबिक, दोनों कंपनियों का वैल्यूशन प्रतिस्पर्धियों की तुलना में थोड़ा ज्यादा था

इक्विरस कैपिटल (Equirus Capital) के प्रबंध निदेशक अजय गर्ग का कहना है कि वित्त वर्ष 2024 के पहले छह महीनों में प्राइमरी मार्केट (आईपीओ बाजार) में काफी ऐक्शन देखने को मिलेगा। लेकिन 2024 के आम चुनाव के करीब आते ही वर्ष 2024 की दूसरी छमाही में बाजार अस्थिर हो जाएगा। वित्त वर्ष 2023 में आईपीओ के जरिए कुल 52116 करोड़ रुपये की राशि जुटाई गई थी। इसमें से अकेले LIC के आईपीओ से 21000 करोड़ रुपये आए थे। अगर इसको निकाल दिया जाए तो वित्त वर्ष 2023 में आईपीओ से सिर्फ 31000 करोड़ रुपये जुटाए गए हैं।

वित्त वर्ष 2024 में आईपीओ के जरिए 50000 करोड़ रुपये जुटाए जाने की उम्मीद

मनीकंट्रोल के साथ हुई बातचीत में अजय गर्ग ने आगे कहा कि उनको वित्त वर्ष 2024 में आईपीओ के जरिए 50000 करोड़ रुपये जुटाए जाने की उम्मीद है। उन्होंने ये भी कहा कि एक निवेश बैंकर के रूप में उनकी नजर वित्त वर्ष 2024 की पहली छमाही पर है। क्योंकि आमतौर पर आम चुनाव से पहले के महीनों में बाजारों में अस्थिरता देखने को मिलती है।

बता दें कि इक्विरस (Equirus) ने वित्त वर्ष 20 23 में ड्रीमफॉक्स (DreamFolks) और प्रूडेंट कॉरपोरेट एडवाइजरी सर्विसेज (Prudent Corporate Advisory Services) के आईपीओ का प्रबंधन किया था। लिस्टिंग के बाद से जहां ड्रीमफॉक्स 33 फीसदी ऊपर है, वहीं प्रूडेंट करीब 68 फीसदी चढ़ा है।

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