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अदाणी ग्रुप के लिए केरल से आई अच्छी खबर, राज्य सरकार ने विझिंजम बंदरगाह का समझौता 5 साल के लिए बढ़ाया

अदाणी ग्रुप के लिए केरल से एक अच्छी खबर आई है। केरल के मुख्यमंत्री सरकार ने पिनराई विजयन ने गुरुवार 28 नवंबर को बताया कि केरल सरकार ने विझिंजम बदंरगाह के लिए अदाणी विझिंजम पोर्ट प्राइवेट लिमिटेड के साथ एक पूरक समझौते का ऐलान किया। यह समझौता इस अंतरराष्ट्रीय बंदरगाह के विकास के लिए किया गया है, जिसका पहला चरण अगले महीने चालू होने वाला है

Moneycontrol Newsअपडेटेड Nov 28, 2024 पर 6:52 PM
अदाणी ग्रुप के लिए केरल से आई अच्छी खबर, राज्य सरकार ने विझिंजम बंदरगाह का समझौता 5 साल के लिए बढ़ाया
केरल सरकार अदाणी ग्रुप के साथ इस समझौते को अपने समुद्री इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास के एक परिवर्तनकारी कदम के रूप में देख रही है

अदाणी ग्रुप के लिए केरल से एक अच्छी खबर आई है। केरल के मुख्यमंत्री सरकार ने पिनराई विजयन ने गुरुवार 28 नवंबर को बताया कि केरल सरकार ने विझिंजम बदंरगाह के लिए अदाणी विझिंजम पोर्ट प्राइवेट लिमिटेड के साथ एक पूरक समझौते का ऐलान किया। यह समझौता इस अंतरराष्ट्रीय बंदरगाह के विकास के लिए किया गया है, जिसका पहला चरण अगले महीने चालू होने वाला है। गुरुवार को हुए समझौते के मुताबिक, केरल सरकार इसे अपने समुद्री इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास की दिशा में एक परिवर्तनकारी कदम के रूप में देख रही है और इस परियोजना का दूसरा और तीसरा चरण 2028 तक पूरा हो जाएगा।

इन तीनों चरणों में 10,000 करोड़ रुपये का अतिरिक्त निवेश शामिल है, जिसके चलते बंदरगाह की क्षमता 30 लाख TEU (ट्वेंटी-फुट इक्विवेलेंट यूनिट) तक बढ़ जाएगी।

केरल के मुख्यमंत्री विजयन ने सोशल मीडिया मंच ‘X’ पर लिखा, "हमने विझिंजम बदंरगाह पर अदाणी विझिंजम पोर्ट प्राइवेट लिमिटेड के साथ एक पूरक रियायत समझौता किया है, जिससे परियोजना की अवधि 5 साल के लिए बढ़ाई जा सके और दिसंबर तक बंदरगाह चालू हो सके। चूंकि 2028 तक दूसरे और तीसरे चरण का काम पूरा होने वाला है, इसलिए 10,000 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा जिससे बंदरगाह की क्षमता 30 लाख टीईयू तक बढ़ जाएगी।" उन्होंने कहा, "यह उपलब्धि व्यापक ग्रोथ और ग्लोबल कनेक्टिविटी के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दिखाती है।"

केरल की वामपंथी सरकार ने अदाणी पोर्ट्स के साथ समझौते पर हस्ताक्षर ऐसे समय में किए हैं, जब अदाणी ग्रुप के फाउंडर गौतम अदाणी पर अमेरिकी प्रॉजिक्यूटर्स ने भारत में सोलर एनर्जी कॉन्ट्रैक्ट्स पाने के लिए भारतीय अधिकारियों को 26.5 करोड़ अमेरिकी डॉलर (करीब 2,200 करोड़ रुपये) की रिश्वत देने की साजिश का हिस्सा होने का आरोप लगाया है।

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