इंडिया का फिक्स्ड इनकम मार्केट (Fixed Income Market) बैंकों के लिए सिरदर्द बन गया है। इसकी वजह मॉनेटरी पॉलिसी (Monetary Policy) में बदलाव और बढ़ता इनफ्लेशन (Inflation) है। बॉन्ड यील्ड (Bond Yield) में उछाल से बैंकों को ट्रेजरी लॉस (Treasury Loss) का सामना करना पड़ा है। इस वजह से इस फाइनेंशियल ईयर की पहली तिमाही में ज्यादातर बैंकों के प्रॉफिट में तेज गिरावट आई है।
