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H-1B Visa: H-1B वीजा पर ट्रंप प्रशासन का कड़ा रुख, 'सेंसरशिप' गतिविधियों में शामिल विदेशी कर्मियों की अमेरिका में एंट्री पर बैन!

Trump Administration On H-1B Visa: नए आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि 'अगर आपको कोई ऐसा प्रमाण मिलता है कि आवेदक संयुक्त राज्य अमेरिका में संरक्षित अभिव्यक्ति की सेंसरशिप या सेंसरशिप के प्रयास के लिए जिम्मेदार या सहयोगी था, तो आपको इमिग्रेशन और राष्ट्रीयता अधिनियम के तहत आवेदक को अपात्र घोषित करने की कार्यवाही करनी चाहिए'

Curated By: Abhishek Guptaअपडेटेड Dec 04, 2025 पर 9:10 AM
H-1B Visa: H-1B वीजा पर ट्रंप प्रशासन का कड़ा रुख, 'सेंसरशिप' गतिविधियों में शामिल विदेशी कर्मियों की अमेरिका में एंट्री पर बैन!
यह कदम अमेरिका में काम करने की इच्छा रखने वाले भारत और चीन जैसे देशों के हजारों तकनीकी पेशेवरों पर सीधा और बड़ा असर डालेगा

H-1B Visa: ट्रंप प्रशासन ने बुधवार को उच्च कुशल श्रमिकों के लिए दिए जाने वाले H-1B वीजा के आवेदकों की जांच को और सख्त करने की घोषणा की है। अमेरिकी विदेश विभाग के एक आंतरिक ज्ञापन में कहा गया है कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की 'सेंसरशिप' में शामिल किसी भी व्यक्ति को वीजा अस्वीकृति के लिए विचाराधीन किया जाना चाहिए। यह कदम अमेरिका में काम करने की इच्छा रखने वाले भारत और चीन जैसे देशों के हजारों तकनीकी पेशेवरों पर सीधा और बड़ा असर डालेगा।

बता दें कि H-1B वीजा अमेरिकी कंपनियों को विशेषज्ञता वाले क्षेत्रों में विदेशी कर्मचारियों को नियुक्त करने की अनुमति देता है और यह अमेरिकी तकनीकी कंपनियों के लिए महत्वपूर्ण है, जो भारत और चीन जैसे देशों से बड़ी संख्या में भर्ती करती हैं।

वीजा जांच में क्या बदलाव आए?

2 दिसंबर को सभी अमेरिकी मिशनों को भेजे गए एक गोपनीय मैसेज में अमेरिकी वाणिज्य दूतावास अधिकारियों को H-1B आवेदकों और उनके साथ यात्रा करने वाले परिवार के सदस्यों के रेज्यूमे या लिंक्डइन प्रोफाइल की गहन समीक्षा करने का निर्देश दिया गया है। समीक्षा में देखा जाएगा कि क्या आवेदकों ने उन क्षेत्रों में काम किया है जिनमें गलत सूचना, दुष्प्रचार, कंटेंट मॉडरेशन, फैक्ट-चेकिंग, अनुपालन और ऑनलाइन सुरक्षा जैसी गतिविधियां शामिल हैं।

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