आरबीआई ने अक्टूबर की मॉनेटरी पॉलिसी में रेपो रेट में बदलाव नहीं किया। लेकिन, इसने बैंकिंग सेक्टर के लिए बड़ा ऐलान किया। क्या यह यह बैंकों के लिए फेस्टिवल सीजन में खुशखबरी है, जो घटती क्रेडिट ग्रोथ, इंटरेस्ट मार्जिन पर दबाव और एसेट क्वालिटी पर दबाव जैसे चैलेंज का सामना कर रहे हैं?