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सुप्रीम कोर्ट ने एजीआर ड्यूज पर भारती एयरटेल और वोडाफोन की याचिका खारिज की, जानिए अब क्या रास्ता बचा है

भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया का मानना है कि एजीआर ड्यूज के कैलकुलेशन में गड़बड़ी हुई है। यह गड़बड़ी डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशंस (DoT) से हुई है। कैलकुलेशन में पहले किए गए पेमेंट को ध्यान में नहीं रखा गया है। इसके अलावा कैलकुलेशन में नॉन-कोर रेवेन्यू को भी जोड़ा गया है

MoneyControl Newsअपडेटेड Feb 15, 2025 पर 4:37 PM
सुप्रीम कोर्ट ने एजीआर ड्यूज पर भारती एयरटेल और वोडाफोन की याचिका खारिज की, जानिए अब क्या रास्ता बचा है
14 फरवरी को वोडोफोन आइडिया के शेयर 5 फीसदी से ज्यादा फिसले, जबकि भारती एयरटेल के शेयर हल्की तेजी के साथ बंद हुए।

सुप्रीम कोर्ट ने वोडाफोन आइडिया और भारती एयरटेल की रिव्यू पिटीशन खारिज कर दी है। दोनों टेलीकॉम कंपनियों ने एडजस्टेड ग्रॉस रेवेन्यू (एजीआर) के बकाया अमाउंट के कैलकुलेशन में गड़बड़ी ठीक करने के लिए रिव्यू पिटीशन फाइल की थी। लेकिन, देश की सबसे बड़ी अदालत ने पिटीशन खारिज करते हुए कोर्ट के 2021 के फैसले को बहाल रखा। अब दोनों कंपनियों के लिए कोई दूसरा कानूनी विकल्प नहीं रह गया है। अब सिर्फ सरकार के हस्तक्षेप से उन्हें राहत मिल सकती है। 14 फरवरी को वोडोफोन आइडिया के शेयर 5 फीसदी से ज्यादा फिसले, जबकि भारती एयरटेल के शेयर हल्की तेजी के साथ बंद हुए।

वोडाफोन आइडिया और भारती एयरटेल ने कैलकुलेशन में गड़बड़ी की दलील दी थी

चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की अगुवाई वाली तीन जजों की बेंच ने कहा कि 23 जुलाई, 2021 के फैसले को रिव्यू करने की कोई जरूरत नहीं है। बेंच ने यह भी कहा कि इसके साथ ही अगर कोई लंबित याचिका होगी तो उसे भी खारिज मान लिया जाएगा। भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया ने कहा था कि डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशंस (DoT) से एजीआर ड्यूज के कैलकुलेशन में बड़ी गड़बड़ हुई है। कैलकुलेशन में पहले किए पेमेंट को भी ध्यान में नहीं रखा गया है। इसके अलावा कैलकुलेशन में नॉन-कोर रेवेन्यू को भी जोड़ा गया है।

कैलकुलेशन में गड़बड़ी से 25000 करोड़ का अनुचित बोझ

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