Paush Amavasya 2025: पौष अमावस्या को साल की सबसे पवित्र तिथियों में से एक माना जाता है। इस दिन पितृ के लिए स्नान और दान करने का बहुत महत्व है। यूं तो पूरे पौष माह में पितरों की पूजा करने का विधान है, क्योंकि इस माह का छोटा पितृ पक्ष भी कहते हैं। पौष अमावस्या साल की आखिरी अमावस्या है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार पौष माह की अमावस्या जैसी विशेष तिथियों पर पितरों की आत्मा की शांति के लिए दान करने से उनका आशीर्वाद मिलता है और पितृ प्रसन्न होते हैं। इस दिन स्नान, दान और श्राद्ध कर्म करने का शुभ फल सात जन्मों तक साथ निभाता है। पूर्वज अपने परिजनों के सत्कर्मों से प्रसन्न होकर उन्हें सुख-समृद्धि का आशीर्वाद देते हैं।
