टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) ने अमेरिका में प्रोफेशनल्स की एंट्री को लेकर एच-1बी (H-1B) वीजा पर अपनी निर्भरता में काफी कमी लाई है। देश की सबसे बड़ी आईटी सर्विसेज कंपनी का कहना है कि इसके केवल लगभग 500 कर्मचारी ही एच-1बी वीजा पर अमेरिका गए हैं। कंपनी का कहना है कि वह अमेरिकी सरकार की बदली हुई इमिग्रेशन पॉलिसी को अपनाने को तैयार है। बता दे कि मनीकंट्रोल को जो आंकड़े मिले हैं, उसके मुताबिक आईटी सर्विसज मुहैया कराने वाली भारतीय कंपनियों में से टीसीएस को अमेरिका के वर्क वीजा प्रोग्राम का सबसे अधिक फायदा मिला है। सितंबर 2025 तक के आंकड़ों के मुताबिक इसे करीब 5505 वीजा एलॉट हुए थे।
